09 February 2018(Friday)

1.अयोध्या मसले पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने किया स्पष्ट, मंदिर-मस्जिद नहीं जमीन का है विवाद
• राजनीतिक रूप से संवेदनशील रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद को सुप्रीम कोर्ट ने विशुद्ध जमीन का विवाद कहा है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह इस मामले को एक भूमि विवाद के रूप में देखता है और उसी तरह उसका निपटारा करेगा।
• चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस अशोक भूषण और अब्दुल नजीर की बेंच ने सभी पक्षों से कहा कि सुनवाई की अगली तारीख से पहले अनुवाद आदि की सभी औपचारिकताएं पूरी कर ली जाएं। लगभग एक घंटे तक चली सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों के वकीलों के बीच नोंकझोंक भी हुई। सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि हाई कोर्ट में पक्षकार रहे वादी-प्रतिवादियों की दलीलों को ही पहले सुना जाएगा।
• इस मामले में बड़ी तादाद में अर्जियां दायर की गई हैं। कई लोगों ने हस्तक्षेप अर्जियां दायर की हैं और अदालत से अनुरोध किया है कि उन्हें भी सुना जाए।
• दोनों पक्षों ने हस्तक्षेपी के रूप में दायर की गई अर्जियों को खारिज करने का अनुरोध किया लेकिन अदालत ने फिलहाल सभी अर्जियों पर कोई आदेश पारित नहीं किया। सुनवाई के दौरान रामलला विराजमान की ओर से वकील सीएस वैद्यनाथन ने अपने विरोधी पक्ष से लिखित दलीलों का सार पेश करने की गुजारिश की और यह भी कहा कि संक्षिप्त सार उन्हें भी दिया जाए।
• वरिष्ठ वकील राजीव धवन ने इसका विरोध किया। पक्षकार एम सिद्दीकी की ओर से पेश वकील ने कहा कि हम अपनी दलीलें किस तरह पेश करेंगे, इसके लिए हमें निर्देश नहीं दिया जा सकता। बेंच ने कहा कि इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ दायर अपीलों पर 14 मार्च को सुनवाई की जाएगी। साथ ही अदालत ने स्पष्ट किया कि उसका इरादा इस मामले को कभी भी रोजाना सुनने का नहीं रहा है।
• सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि उन भाषाई पुस्तकों का, जिन्हें इस मामले में आधार बनाया गया है,अंग्रेजी में रूपांतरण कराया जाए और इन्हें आज से दो सप्ताह के भीतर दाखिल किया जाए।

2. नेपाल : वामपंथियों को मिला उच्च सदन में बहुमत
• नेपाल की कम्युनिस्ट पार्टयों ने 39 सीटों के साथ बृहस्पतिवार को नेपाल के उच्च सदन में बहुत हासिल कर लिया। इसके साथ ही, इसके नेता केपी शर्मा ओली नीत अगली सरकार के गठन का मार्ग प्रशस्त हो गया है। नेपाली संसद के उच्च सदन नेशनल एसेंबली की 56 सीटों के लिए चुनाव सभी छह प्रांतों में शांतिपूर्वक संपन्न हुआ था। इनमें बुधवार को 99 फीसदी मतदान हुआ था।
• चुनाव आयोग के मुताबिक सीपीएन-यूएमएल ने 27 सीटें जीती जबकि माओवादी प्रमुख एवं पूर्व प्रधानमंत्री प्रचंड नीत सीपीएन-माओस्टि सेंटर ने 12 सीटें जीती। नेपाली कांग्रेस ने 13 सीटें जीती और राष्ट्रीय जनता पार्टी नेपाल तथा फेडरल सोशलिस्ट पार्टी नेपाल (दोनों मधेसी पार्टियां) को नेशनल एसेंबली में दो-दो सीटें मिली।
• चुनाव नतीजों ने सीपीएन-यूएमएल और सीपीएन-माओस्टि सेंटर के वाम गठबंधन की सरकार के गठन का मार्ग प्रशस्त कर दिया है। देश में 2015 में नया संविधान लागू किए जाने के बाद से ये प्रथम चुनाव थे।
• नए संविधान ने देश को एक संघीय लोकतांत्रिक गणराज्य में तब्दील कर दिया है। पूर्व प्रधानमंत्री एवं सीपीएन-यूएमएल प्रमुख ओली नया प्रधानमंत्री बनने वाले हैं। वह चीन समर्थक अपने रुख को लेकर जाने जाते हैं।

3. भारत के लिए खाड़ी, प. एशिया महत्वपूर्ण : मोदी
• प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बृहस्पतिवार को कहा कि भारत के लिए खाड़ी तथा पश्चिम एशिया प्रमुख प्राथमिकता वाला क्षेत्र है और उनकी इस यात्रा का मकसद क्षेत्र के साथ संबंधों को मजबूत बनाना है।
• प्रधानमंत्री ने फिलिस्तीन, संयुक्त अरब अमीरात और ओमान की यात्रा की पूर्व संध्या पर यह बात कही। मोदी शुक्रवार को इन तीन देशों की यात्रा पर रवाना हो रहे हैं। उन्होंने कहा, 2015 के बाद खाड़ी और पश्चिमी एशिया क्षेत्र की उनकी यह पांचवीं यात्रा है।
• नौ से 12 फरवरी तक इन देशों की यात्रा पर जा रहे मोदी ने कहा, हमारी नियंतण्र गतिविधियों में इस क्षेत्र को काफी प्राथमिकता दी गई है। हमारे यहां के देशों के साथ बहु-आयामी संबंध हैं। मोदी ने फेसबुक पर लिखा है, मैं अपनी यात्रा के जरिये भारत के पश्चिम एशिया तथा खाडी क्षेत्र के साथ बढ़ते और महत्वपूर्ण संबंध को और मजबूत बनाने को लेकर प्रतिबद्ध हूं।
• उन्होंने रेखांकित किया कि किसी भारतीय प्रधानमंत्री की यह पहली फिलिस्तीन यात्रा है। उन्होंने कहा कि फिलिस्तीन के राष्ट्रपति महमूद अब्बास के साथ बातचीत को लेकर उनका नजरिया सकारात्मक है।

4. 10 शहरों को बनाया जाएगा आईकॉनिक सिटी
• अंतर्राष्ट्रीय पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए पर्यटन स्थलों से जुड़े देश के 10 प्रमुख शहरों को आईकॉनिक सिटी बनाया जाएगा और इन सभी 10 शहरों के प्रमुख पर्यटन स्थलों पर विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। पर्यटन मंत्रालय की इस योजना को प्रधानमंत्री कार्यालय व वित्त मंत्रालय ने भी मंजूरी दे दी है। मंजूरी के बाद पर्यटन मंत्रालय ने संबधित पर्यटन स्थलों की तस्वीर बदलने की कार्य योजना पर काम शुरू कर दिया है।
• भारत में स्थित ऐतिहासिक व पुरातत्विक इमारतों के प्रति विदेशी पर्यटकों का आकर्षण लगातार बढ़ रहा है लेकिन अधिकांश ऐतिहासिक स्थलों व पुरातत्व महत्व के पर्यटन स्थलों की अंतर्राष्ट्रीयस्तर पर ना तो ब्रांडिंग हुई है और न ही इन स्थलों पर विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलबध हैं।
• पर्यटन प्रधानमंत्री कार्यालय की प्राथमिकताओं में शामिल है और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी स्वयं कई बार पर्यटन को बढ़ावा देने की बात कर चुके हैं यही कारण है कि पर्यटन मंत्रालय ने अब पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए विस्तृत कार्य योजना बनाई है जिसके तहत प्रथम चरण में देश में पुरातत्व व एंतिहासिक महत्व के 10 शहरों से जुड़े पर्यटन स्थलों को विकसित कर इन शहरों को विदेशी पर्यटकों के लिए आईकॉनिक सिटी बनाया जाएगा।
• केन्द्रीय पर्यटन सचिव श्रीमती रश्मि वर्मा ने बताया कि आईकॉनिक सिटी योजना के तहत जिन पर्यटन स्थलों का चयन किया गया है उनमें गोवा का मोरान्जिम बीच, चेन्नई स्थित महाबलीपुरम, गुजरात स्थित धोलावीर व सोमनाथ मंदिर, आगरा का ताजमहल व फतेहपुर सीकरी, दिल्ली का लालकिला, कुतुब मीनार व हुमांयू का मकबरा, राजस्थान का आमीर फोर्ट, अजन्ता की गुफाएं, कर्नाटक स्थित हम्पी, खुजराहो व काजीरंगा वाइल्ड लाइफ सेंचुरी शामिल हैं।
• उन्होंने बताया कि आगामी वित्त वर्ष के बजट में उक्त सभी पर्यटन स्थलों पर किए जाने वाले कायरे हेतु अध्ययन व विस्तृत परियोजना रिपोर्ट बनाने के लिए 100 करोड़ रपए मंजूर किए गए हैं और इस मंजूरी के बाद पर्यटन मंत्रालय ने इस कार्ययोजना पर काम शुरू कर दिया है।
• उन्होंने बताया कि चुने गये सभी पर्यटन स्थलों तक विश्व के प्रमुख शहरों से आवागमन सुविधाएं उपलबध कराई जाएंगी तथा वहां आने वाले पर्यटकों के लिए अंतर्राष्ट्रीय स्तर की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी ताकि वहां आकर पर्यटकों को अंतर्राष्ट्रीय स्तर के अनुभव हों।
• उन्होंने बताया कि कार्ययोजना तय करने के लिए विभिनन मंत्रालयों की एक निगरानी कमेटी बनाई जाएगी जो पूरी कार्य योजना को अंतिम रूप देकर कार्य योजना की निगरानी करेगी।

5. गूगल पर अनुचित व्यवहार के लिए 136 करोड़ का जुर्माना
• भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (सीसीआइ) ने सर्च इंजन गूगल पर 136 करोड़ रुपये जुर्माना लगाया है। भारतीय बाजार में अनुचित व्यापारिक व्यवहार अपनाने के लिए यह जुर्माना लगाया गया है।
• वर्ष 2012 में दायर की गई शिकायतों पर आदेश जारी करते हुए सीसीआइ ने कहा कि भरोसा तोड़ने वाले व्यवहार के लिए गूगल पर जुर्माना लगाया गया है। कारोबार के तरीके पर जुर्माना लगाने का यह मामला दुनिया भर में दुर्लभ माना जा रहा है।
• कंपनी पर आरोप है कि ऑनलाइन सर्च के बाजार में अग्रणी स्थिति होने के कारण गूगल सर्च में हेराफेरी कर रही है।
• सीसीआइ के आदेश के अनुसार वित्त वर्ष 2012-13, 2013-14 और 2014-15 के दौरान कंपनी को भारत में हुई कुल आय का पांच फीसद जुर्माना लगाया गया है। यह राशि 135.86 करोड़ रुपये बनती है। सीसीआइ ने कहा कि उसने गूगल द्वारा दिए गए जवाबों पर पूरा गौर किया और जुर्माना लगाना जरूरी माना।
• वर्ष 2012 में मेट्रोमॉनीडॉटकॉम और कंज्यूमर यूनिटी एंड ट्रस्ट सोसायटी ने गूगल के खिलाफ शिकायतें दर्ज की थीं। सीसीआइ के आदेश में गूगल के प्रवक्ता ने कहा कि कंपनी इस फैसले की समीक्षा कर रही है।

6. ग्लोबल वार्मिग से रंगहीन हो रहे कोरल रीफ
• बढ़ते वैश्विक तापमान के कारण समुद्री प्रवाल भित्तियों यानी कोरल रीफ पर पड़ रहे असर का मुद्दा करीब दो दशक से बना हुआ है। एक अध्ययन में भारतीय शोधकर्ताओं ने पाया है कि जलवायु परिवर्तन की मार से प्रवाल प्रजातियां भी बच नहीं पाई हैं। जलवायु परिवर्तन के कारण बदलते समुद्री तापमान की वजह से प्रवाल प्रजातियां रंगहीन हो रही हैं।
• तमिलनाडु के तुतीकोरिन स्थित सुगंती देवदासन समुद्री अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिक महाराष्ट्र के सिंधदुर्ग जिले में स्थित मालवन समुद्री अभयारण्य की प्रवाल प्रजातियों के रंगहीन होने की प्रक्रिया का अध्ययन करने के बाद इस नतीजे पर पहुंचे हैं।
• अध्ययन के दौरान समुद्र के भीतर दो से पांच मीटर की गहराई वाले क्षेत्रों में दिसंबर, 2015 से मई, 2016 के बीच दो बार सर्वेक्षण किया गया है। अभयारण्य में समुद्री प्रवाल के रंग बदलने की तीव्रता और प्रवृति का आकलन भी किया गया है। दिसंबर, 2015 में इस समुद्री अभयारण्य में प्रवालों के मृत होने की दर 8.38 फीसद एवं उनमें रंग बदलने की दर 70.93 फीसद दर्ज की गई थी। सिर्फ 29.07 फीसद प्रवाल ही इस घटनाक्रम से अप्रभावित पाए गए।
• अध्ययन में शामिल वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ के. दिराविया राज ने बताया कि विरंजन यानी रंग बदलने के बाद प्रवाल रोगों के प्रति अति संवेदनशील हो जाते हैं, जिससे उनकी मृत्यु दर बढ़ सकती है। तापमान को प्रभावित करने वाले मानव जनित कारकों को नियंत्रित करने के लिए वैश्विक पहल और नीतिगत सुधार की जरूरत है। प्रवालों के पुनर्जीवन के लिए मानव जनित खतरों को कम करना होगा।
• डॉ के. राज के अनुसार मलवान समुद्री अभयारण्य प्रवाल भित्तियों और संबंधित संसाधनों से समृद्ध है, जो इसके आसपास के क्षेत्र में रहने वाले स्थानीय मछुआरों की आजीविका का मुख्य स्नोत है। ऐसे में यहां प्रवालों को संरक्षित बनाए रखने के लिए लोगों की गतिविधियों पर ध्यान देने की सख्त जरूरत है।
• स्थानीय लोगों में प्रवालों के दीर्घकालिक लाभ की समझ पैदा करने के लिए उनमें जागरूकता लाना भी बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यदि प्रवाल समाप्त हो जाएंगे, तो यह सुनिश्चित है कि उन पर आश्रित लोगों की आजीविका बुरी तरह प्रभावित होगी। 1वैश्विक प्रवाल विरंजन की घटनाएं 1998 और 2010 के दौरान पहले भी दो बार हो चुकी हैं। 2014 से 2017 के दौरान तीसरी और सबसे लंबे समय तक चलने वाली प्रवाल विरंजन की घटना से दुनिया भर के प्रवालों पर काफी असर पड़ा था। वैज्ञानिकों के अनुसार प्रवाल विरंजन के लिए समुद्री सतह का तापमान एक प्रभावी कारक माना जाता है।
• तापमान में बदलाव का असर प्रवालों की संवेदनशीलता पर स्पष्ट रूप से देखा गया है। वैज्ञानिकों के अनुसार समुद्री सतह के तापमान में मात्र एक से दो डिग्री सेल्सियस वृद्धि से ही प्रवाल और शैवाल के बीच संतुलन बिगड़ जाता है और विरंजन होने लगता है। प्रवाल विरंजन से प्रवाल कमजोर हो जाते हैं तथा इसका विपरीत प्रभाव प्रवालों की भित्ति निर्माण की क्षमता पर पड़ता है।
• लंबे समय तक विरंजन की प्रक्रिया जारी रहने पर प्रवालों के पुनर्जीवन की संभावनाएं बहुत कम हो जाती हैं। ऐसे में इन पर अन्य गैर-सहजीवी शैवाल हावी हो सकते हैं, जिनका विपरीत प्रभाव प्रवाल भित्तियों पर आश्रित समुद्री जीवों पर भी पड़ सकता है। इस शोध का प्रकाशन जर्नल करंट साइंस में किया गया है।

7. फोर्ब्स ने पहली बार जारी की क्रिप्टोकरेंसी अरबपतियों की सूची; 52 हजार करोड़ रुपए के साथ रिप्पल के क्रिस लार्सन शीर्ष पर
• अमेरिकी बिजनेस मैगजीन फोर्ब्स ने पहली बार क्रिप्टोकरेंसी बाजार में सबसे अमीर लोगों की अपनी पहली लिस्ट जारी की है। लिस्ट में शीर्ष पर रिप्पल के कोफाउंडर क्रिस लार्सन हैं। उनके पास करीब 52 हजार करोड़ की क्रिप्टोकरेंसी है।
• पिछले साल क्रिप्टोकरेंसी की कीमतों में रिकॉर्ड तेजी देखने को मिली और कई लोगों ने इसमें निवेश कर खासे पैसे भी बनाए। फोर्ब्स के मुताबिक 2017 में दुनिया की टॉप 3 करेंसियों बिटकॉइन, एथेरियम और रिपल के औसत मूल्य में 14,409% का उछाल देखने काे मिला है।
• वहीं, दूसरी तरफ, दुनिया में करीब 1,500 क्रिप्टोकरेंसी चलन में हैं। इनका कुल मूल्य 55,000 करोड़ डॉलर (करीब 35.35 लाख करोड़ रुपए) है। 2017 की शुरुआत से इनके मूल्य में अब तक 31 गुना बढ़ोतरी दिखी है।
• फोर्ब्स के एडिटर रैंडल लेन ने कहा कि क्रिप्टोकरेंसी की कीमतों में जिस प्रमाण में यह बढ़ोतरी हुई है। इसे सामने लाना चाहिए। भारत सरकार ने क्रिप्टोकरेंसी को मान्यता नहीं दी है।
• आम बजट में वित्तमंत्री अरुण जेटली कह चुके हैं, केंद्र सरकार का क्रिप्टोकरेंसी या बिटकॉइन को मान्यता देने का कोई विचार नहीं है।
• फोर्ब्स ने कहा है कि हो सकता है इसमें क्रिप्टोकरेंसी के कुछ प्लेयर शामिल न हो पाए हों, और कुछ की संपत्ति अनुमान से ज्यादा या कम हो सकती है।
• लिस्ट के लिए 5 कैटेगरी रखी गई थीं- आदर्शवादी, बिल्डर्स, अवसरवादी, इंफ्रास्ट्रक्चर प्लेयर और एस्टेब्लिश इन्वेस्टर। लिस्ट में न्यूनतम 2,250 करोड़ रुपए की क्रिप्टोकरेंसी रखने वाले लोगों को शामिल किया गया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *