• अब तक भी राष्ट्रीय बचत पत्र (एनएससी) व मासिक आय योजना समेत तमाम लघु बचत स्कीमों के तहत जमा स्वीकार करेंगे। केंद्र सरकार ने इसके लिए बैंकों को मंजूरी दे दी है। केंद्र ने इसके लिए अधिसूचना जारी कर दी है। आइसीआइसीआइ समेत तीन निजी बैंक भी इसके दायरे में आएंगे।

• लघु बचतों को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने यह कदम उठाया है। अब तक अधिकांश स्माल सेविंग्स स्कीमें डाकघरों के जरिये ही बेची जाती थीं।

• अधिसूचना के मुताबिक सभी सरकारी बैंक और निजी क्षेत्र के तीनों दिग्गज- आइसीआइसीआइ, एक्सिस और एचडीएफसी बैंक लघु बचत स्कीमों के तहत डिपॉजिट स्वीकार कर सकेंगे।

• अभी तक बैंक लोक भविष्य निधि (पीपीएफ), किसान विकास पत्र-2014, सुकन्या समृद्धि योजना, वरिष्ठ नागरिक बचत योजना-2004 के लिए ही सब्सक्रिप्शन स्वीकार कर सकते थे।

• अब सभी स्कीमों के लिए बैंकों को अनुमति देने के चलते सरकार ज्यादा धनराशि जुटा सकेगी।

• पिछले महीने सरकार ने अक्टूबर से दिसंबर की तिमाही के लिए लघु बचतों पर ब्याज दर को अपरिवर्तित रखने का एलान किया है। पिछले साल अप्रैल से केंद्र हर तिमाही लघु बचत योजनाओं की ब्याज दरों की समीक्षा करता है। दरों में बदलाव करने पर उसकी ओर से अधिसूचना भी जारी की जाती है।

• फिलहाल पीपीएफ पर सालाना 7.8 फीसद ब्याज मिलता है। किसी भी डाकघर या बैंक में 15 साल के लिए पीपीएफ खाता खोला जा सकता है। यह खाता कोई भी वयस्क खोल सकता है

✴️नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट यानी एनएससी पर ब्याज की दर 7.8 फीसद है। पीपीएफ और राष्ट्रीय बचत पत्र दोनों में निवेश पर आयकर में छूट भी मिलती है।

• किसान विकास पत्र में निवेश करने वालों को 7.5 फीसद का सालाना रिटर्न मिलता है। इसकी मैच्योरिटी अवधि 115 महीने निर्धारित है। इसी तरह कोई भी व्यक्ति बच्चियों के लिए सुकन्या समृद्धि खाता खोल सकता है। फिलहाल इस स्कीम पर 8.3 फीसद वार्षिक ब्याज दर तय है।

• इसी तरह पांच साल के सीनियर सिटीजन सेविंग्स स्कीम में निवेश पर भी इतना ही रिटर्न मिल रहा है। इस स्कीम पर हर तिमाही ब्याज दिया जाता है।

 

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